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विजय हजारे जन्मदिन विशेष (Vijay Hazare Birthday Special):
आज भारत के महान कप्तान विजय हजारे (Vijay Hazare) की 106 जन्म शताब्दी है। क्रिकेट जगत में विजय हजारे (Vijay Hazare) का नाम आज भी लिया जाता है। विश्व के महान बल्लेबाजों में से एक विजय सैमुअल हजारे का जन्म आज ही के दिन हुआ था।
विजय हजारे (Vijay Hazare) ने अपने क्रिकेटर करियर में कई बड़े रिकार्ड्स अपने नाम किए है। उनके नाम पर भारत में घरेलू क्रिकेट टूर्नामेंट विजय हजारे (Vijay Hazare) ट्रॉफी का आयोजन भी हर साल होता है। साल 1952 में भारतीय टीम ने विजय हजारे की कप्तानी में चेन्नई में इंग्लैंड के खिलाफ पहला टेस्ट मैच जीता था।
11 मार्च का दिन भारतीय क्रिकेट में बहुत ही अहम है। इस दिन उस दिग्गज का जन्म हुआ था जिन्होंने भारत को टेस्ट में पहली जीत दिलाई थी। आज भारत के महान कप्तान विजय हजारे की 106 जन्म शताब्दी है। साल 1952 में भारतीय टीम ने विजय हजारे की कप्तानी में चेन्नई में इंग्लैंड के खिलाफ पहला टेस्ट मैच जीता था।
विजय हजारे (Vijay Hazare) ने 31 की उम्र में किया टेस्ट डेब्यू:
उन्होंने 31 साल की उम्र में पहला टेस्ट खेला. एक बल्लेबाज के रूप में उनकी पहचान 1947-48 के पहले ऑस्ट्रेलिया दौरे से बनी. तब उन्होंने एडिलेड टेस्ट की दोनों पारियों में शतक जड़ा था. इस मैच में ऑस्ट्रेलिया ने पहली पारी में 674 रन का बड़ा स्कोर खड़ा किया था.
भारत ने विजय हजारे (Vijay Hazare) के शतक की बदौलत पहली पारी में 381 रन बनाए. लेकिन फॉलोऑन खेलना पड़ा. दूसरी पारी में 6 भारतीय बल्लेबाज खाता भी नहीं खोल पाए. लेकिन हजारे ब्रैडमैन के तेज गेंदबाजों के आगे डटे रहे और शतक बनाकर पवेलियन लौटे. भारत यह मैच हार गया. लेकिन विजय हजारे ने बल्लेबाजी से सबको अपना मुरीद बना लिया.
20 साल के लंबे इंतजार के बाद हासिल हुई थी पहली जीत:
यह अपनी कप्तानी में भारतीय टीम को क्रिकेट इतिहास की पहली जीत दिलाने वाली उपलब्धि है | दरअसल, भारतीय टीम ने 25 जून 1932 को क्रिकेट की दुनिया में कदम रखा था | मगर उसे अपनी पहली जीत दर्ज करने के लिए 20 सालों का इंतजार करना पड़ा |
दरअसल, भारतीय टीम ने क्रिकेट इतिहास का अपना 25वां मुकाबला इंग्लैंड के खिलाफ चेन्नई में खेला था | यह मैच 6 फरवरी 1952 से खेला गया था | इस मुकाबले में भारतीय टीम की कप्तानी विजय हजारे ही संभाल रहे थे | इस मैच में भले ही विजय ने बल्ले से कमाल नहीं दिखाया, लेकिन रणनीति से अंग्रेजों को चित कर दिया था |
विजय हजारे (Vijay Hazare) की रिकॉर्ड तोड़ परफॉर्मेंस:
महाराष्ट्र के सांगली इलाके में जन्में विजय हजारे (Vijay Hazare) आजाद भारत के पहले ऐसे कप्तान थे जिन्होंने 14 टेस्ट मैच में देश की कप्तानी की | भारत को पहली टेस्ट जीत भी विजय हजारे की कप्तानी में मिली थी | हालांकि विजय हजारे का नाम इंटरनेशनल के बजाय घरेलू क्रिकेट में ज्यादा हुआ |
उनके नाम कई रिकॉर्ड दर्ज हैं | रणजी ट्रॉफी के इतिहास में पहली बार अगर किसी ने तिहरा शतक मारा था तो वो विजय हजारे थे | इसके अलावा तीन टेस्ट मैचों में तीन शतक लगाने वाले पहले भारतीय बल्लेबाज भी विजय हजारे ही हैं | साथ ही घरेलू क्रिकेट में 50 शतक मारने वालों में भी पहला नाम विजय हजारे का ही है |
क्या है विजय हजारे ट्रॉफी:
विजय हजारे ट्रॉफी को वनडे रणजी ट्रॉफी के नाम से भी जाना जाता है | ये टूर्नामेंट 2002-03 में डोमेस्टिक क्रिकेट के रूप में शुरू किया गया था | इस टूर्नामेंट में रणजी की सभी टीमें हिस्सा लेती हैं. ट्रॉफी का नाम दिग्गज भारतीय क्रिकेटर विजय हजारे के नाम पर रखा गया था |
पीढ़ी दर पीढ़ी सब क्रिकेट से जुड़े रहे:
भारत का ऐसा क्रिकेटर जिसकी पीढ़ियां भी इस खेल से जुड़ी रहीं। उनके भाई विवेक हजारे, बेटे रंजीत हजारे से लेकर पोते कुणाल हजारे तक क्रिकेट खेले। भारत के आजाद होने से पहले साल 1943-44 में उन्होंने द रेस्ट्स के लिए खेलते हुए द हिंदुज के खिलाफ नाबाद 309 रन बनाए थे जिसमें पूरी टीम ने 387 रन ही बनाए।
सौरव गांगुली, मोहम्मद अजहरूद्दीन और महेंद्र सिंह धोनी ने भले ही कप्तान के रूप में सफलता की नई इबारत लिखी हों लेकिन भारत को जीतना हजारे ने अपनी कप्तानी में ही खिखाया था। टेस्ट दर्जा मिलने के लगभग 20 साल बाद अपने 25वें टेस्ट में हजारे की अगुआई में 1951-52 में मद्रास में इंग्लैंड को हराकर पहली बार टेस्ट क्रिकेट में जीत का परचम लहराया था। टीम इंडिया ने इस मैच में पारी और आठ रन की जीत के साथ इतिहास रचा था। हजारे की अगुआई में हालांकि टीम इसके बाद एक भी जीत दर्ज नहीं कर पाई।
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